
Political rag on infiltrators ,bjp retaliated on congress
राष्ट्रमत न्यूज,रायपुर(रमेश तिवारी‘रिपु’)। छत्तीसगढ़ में अवैध घुसपैठिए के सवाल पर बीजेपी और कांग्रेस के बीच तीखी तकरार है। बीजेपी अवैध घुसपैठिए को राज्य के लिए कलंक मानती है। वहीं कांग्रेस इसे जातीय तनाव से जोड़ रही है। बीेजेपी को लगता है कि अवैध घुसपैठिये से चुनावी बिसात बिगड़ जाएगी। इससे बीजेपी को खतरा है। वहीं कांग्रेस इनके पक्ष में बातें करके अवैध घुसपैठियों का पक्ष ले रही है। प्रदेश में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी और रोहिंगियाओं की तलाशी के लिए स्पेशल टास्क फोर्स का गठन किया गया है। प्रदेश के सभी 33 जिलों में एडिशन एसपी और डीएसपी रैंक के अधिकारियों को प्रभारी बनाया गया है। यह माना जा रहा है कि करीब दस हजार बांग्लादेशी और पाकिस्तान के लोग हैं,जो बिना किसी दस्तावेज के पिछले दस- पन्द्रह साल से रह रहे हैं। बीजेपी को अंदेशा है भविष्य में घुसैपैठिए राज्य के लिए खतरनाक हो सकते हैं।
दीपक बैज का अनोखा तर्क
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज कहते हैं राजधानी सुरक्षित नहीं हैं। भाजपा पर समाज को बांटने का आरोप लगाया।यह मुद्दा दलित आदिवासी और पिछड़े वर्गों से भरे जिलों में संवेदनशील बन गया है। भाजपा इसे वोट संरक्षित करने की रणनीति मानती है, तो कांग्रेस इसे सामाजिक समरसता पर हमला बता रही है।
दोनो इंजन में तालमेल नहीं
पूर्व मुख्ंयमंत्री भूपेश बघेल कहते हैं कि घुसपैठ और घुसपैठिए को बाहर करने की जिम्मेदारी केन्द्र बीजेपी सरकार पर है।डबल इंजन के दोनों इंजन से तालमेल नहीं है। छत्तीसगढ़ सरकार को रोहिंग्या और बांग्लादेशी पर घुसपैठिए पर श्वेत पत्र जारी करना चाहिए। पता तो चले इनकी संख्या कितनी है। और सरकार इस पर क्या कार्रवाई कर रही है।केवल अफवाहों से डर पैदा करके काम नहीं चलेगा।
घुसपैठिए के लिए कांग्रेस दोषी
उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा कहते हैं कि सबसे अधिक घुसपैठिए कांग्रेस सरकार के समय आए हैं। राज्य में कितने घुसपैठिए हैं इसकी जानकारी के लिए कार्यवाही की जा रही है। एसटीएफ का गठन कर दिया गया है।गृह मंत्री विजय शर्मा ने इसे सामाजिक सुरक्षा के लिए जरूरी कदम कहा, छत्तीसगढ़ में अवैध घुसपैठियों का मुद्दा अब सिर्फ प्रशासनिक नहीं,बल्कि एक बड़ा चुनावी मुद्दा बन चुका है। राज्य में भाजपा और कांग्रेस आमने सामने हैं। एक तरफ सुरक्षा की दुहाई दी जा रही है तो दूसरी तरफ सामाजिक सौहार्द बिगाड़ने के आरोप लग रहे हैं। भाजपा सरकार ने हाल ही में अवैध प्रवासियों की पहचान के लिए नया अभियान चलाया है। जिसमें भाषा,स्कूल, गांव और स्थानीय इतिहास के आधार पर नागरिकता की पुष्टि की जाएगी।गृह मंत्री विजय शर्मा ने इसे राष्ट्रीय सुरक्षा का विषय बताया। इसके साथ ही एक टोलफ्री नंबर भी जारी किया गया है। जिस पर आम जनता संदिग्ध गतिविधियों की जानकारी दे सकेगी।
छत्तीसगढ़ सुरक्षित रहे
प्रदेश में घुसपैठिए की धर पकड़ के लिए राज्य सरकार ने हर जिले में एसटीएफ का गठन कर दिया है। वहीं घुसपैठिए को पकड़ने के लिए राज्य में जय छत्तीसगढ़ अभियान चला रही है।एक टोल फ्री नम्बरी जारी की है। जिसके जरिए पुलिस प्रदेश में काॅम्बिग आॅपरेशन चलाएगी। घुसपैठिए की पहचान के लिए कई पैरामीटर्स बनाए गए है। यदि किसी को लगता है कि इस क्षेत्र,बस्ती या फिर घर में किसी ने दो कमरे पर दे रखे हैं। मोहल्ले में कोई अनजान रहने लगा है। टेंट वाले ने एसे कामगारों को रखा है,जो कम वेतन में काम कर रहे है। इनकी भाषा शैली अलग है। ऐसे सभी लोगों की शिकायत टोल फ्री नम्बर 1800233190 पर कर सकते हैं। प्रत्येक जिले में गठित एसटीएफ के तहत एडिशनल एसपी,डीएसपी,स्तर के अधिकारी को नोडल बनाया गया है। भविष्य में छत्तीसगढ़ सुरक्षित रहे इसकी कोशिश सरकार कर रही है।
घुसपैठिए के पक्ष में कांग्रेस
भाजपा का कहना है कि अवैध घुसपैठिए राज्य की कानून व्यवस्था और सामाजिक ढांचे के लिए खतरा बन सकते हैं।पार्टी प्रवक्ता काल केदार गुप्ता ने आरोप लगाया कि कांग्रेस भ्रम फैलाकर इस गंभीर मुद्दे को भी सियासी मोड़ देने में जुटी है। वहीं कांग्रेस ने भाजपा के इस कदम को समाज को बांटने की राजनीति करार दिया है। कांग्रेस ने जवाब में जिला स्तर पर विरोध प्रदर्शन और जनसंवाद अभियान की शुरुआत की है। जहां वह यह बताने की कोशिश कर रही है कि यह लड़ाई घुसपैठियों से नहीं जनविश्वास से है। जाहिर सी बात है कि बांग्लादेशी और रोंहगिया कांगे्रस के लिए वोट बैंक है तो बीजेपी इसे राज्य विरोधी मान कर इनके खिलाफ एक्शन ले रही है। कांग्रेस का जिला स्तर पर घुसपैठिए के खिलाफ प्रदर्शन इस बात का संकेत है कि वो सरकार की कार्रवाई की खिलाफत कर रही है। वो चाहती है कि राज्य में घुसपैठिए रहें।