
Controversy over appointment of district president in mp congress
राष्ट्रमत न्यूज,भोपाल (ब्यूरो)। मध्य प्रदेश में कांग्रेस के जिलाध्यक्षों की लिस्ट जारी होने के साथ ही पार्टी के अंदर घमासान शुरू हो गया है। जिन नेताओं के पद मिल गए उनकी बल्ले-बल्ले हो गई और जिनके नाम कट गए, उन नेताओं ने अब सड़कों पर मोर्चा खोल दिया है। भोपाल में कांग्रेस नेता खून से राहुल गांधी को चिट्ठी लिख रहे हैं वहीं जबलपुर में नेता सिर मुंडवा रहे हैं। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी पर पैसे लेकर जिलाध्यक्ष पद देने के आरोप लग रहे हैं।एक ने कहा कि फारेव्हीलर लेकर जिलाध्यक्ष पद दिया।
खून से राहुल गांधी के नाम चिट्ठी लिखी
जानकारी के मुताबिक भोपाल, उज्जैन, जबलपुर में कांग्रेस के नेता खुलकर आला नेताओं के विरोध में उतर आए हैं और पार्टी के अंदर इंसाफ की मांग कर रहे हैं। भोपाल में एमपी कांग्रेस के आला नेताओं से नाराज कांग्रेसी धरने पर बैठे हुए हैं। खून से राहुल गांधी के नाम चिट्ठी लिखकर इंसाफ की मांग कर रहे हैं। कांग्रेस नेता मोनू सक्सेना ने आरोप लगाया है कि व्यापम घोटाले के आरोपी संजीव सक्सेना को प्रदेश में महामंत्री बना दिया गया है। इतना नहीं संजीव सक्सेना के छोटे भाई को भोपाल कांग्रेस का जिलाध्यक्ष बना दिया गया है। मोनू सक्सेना ने मध्य प्रदेश कांग्रेस के नेताओं पर राहुल गांधी को धोखा देने का आरोप लगाया है।
विरोध में मुंडवाया सिर
वहीं जबलपुर में भी कांग्रेसी आला कमान के विरोध में उतर आए हैं। कांग्रेस कार्यकर्ताओं सौरभ शर्मा को जिलाध्यक्ष बनाए जाने का विरोध कर रहे हैं। कार्यकर्ता सौरभ शर्मा के विरोध में सिर मुंडवा रहे हैं।
दलबदलुओं को जगह मिलने का विरोध
वहीं, कांग्रेस कार्यकर्ता दूसरी पार्टी से आए नेताओं के पद देने के खिलाफ है। उनकी मांग है कि संगठन सृजन अभियान के सर्वे रिपोर्ट को जारी की जाए। मध्य प्रदेश कांग्रेस में लंबे वक्त से प्रदेश पदाधिकारियों और जिलाध्यक्षों की नियुक्ति नहीं हुई थी लेकिन अब जब नियुक्ति हुई है तो पार्टी के अंदर ही सिर फुटौवल शुरू हो गई है।
71 नए जिला अध्यक्षों की नियुक्ति
बता दें कि अभी हाल में ही कांग्रेस ने 71 नए जिला अध्यक्षों की नियुक्ति की थी। इसके बाद राज्य भर के नेताओं और कार्यकर्ताओं में गुस्सा फूट पड़ा है। तीन पूर्व मंत्रियों सहित छह मौजूदा विधायकों और दस पूर्व विधायकों को मध्य प्रदेश के अपने-अपने जिलों में पार्टी के पुनर्निर्माण की जिम्मेदारी दी गई है। पूर्व मंत्री जयवर्धन सिंह को उनके गृह जिले गुना का जिलाध्यक्ष बनाया गया है। जयवर्धन सिंह पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के पुत्र हैं। ओमकार सिंह मरकाम को डिंडोरी जिलाध्यक्ष बनाया गया है।
विवाद की वजह यह है
चार बार आदिवासी विधायक रहे ओमकार सिंह मरकाम पहले प्रदेश पार्टी अध्यक्ष और नेता प्रतिपक्ष पद की दौड़ में थे। दस पूर्व विधायकों को भी जिला अध्यक्ष नियुक्त किया गया है, जिनमें मुकेश पटेल (अलीराजपुर), विपिन वानखेड़े (इंदौर ग्रामीण), कुंवर सौरभ सिंह (कटनी), डॉ. अशोक मर्सकोले (मंडला), सुनीता पटेल (नरसिंहपुर), पूर्व मंत्री प्रियव्रत सिंह (राजगढ़), हर्ष विजय गहलोत (रतलाम ग्रामीण), निलय डागा (बैतूल), संजय यादव (जबलपुर ग्रामीण) और जतन उइके (पांढुर्ना) शामिल हैं।