
Christian society rally in protest against the arrest of nuns
राष्ट्रमत न्यूज,सरगुजा। छत्तीसगढ़ के दुर्ग रेलवे स्टेशन पर दो ननों की गिरफ्तारी के विरोध में मंगलवार को ईसाई समाज ने अंबिकापुर में रैली निकाली। कलेक्टोरेट चौक पर आमसभा का आयोजन किया। वक्ताओं ने कहा कि देश में ईसाई समुदाय के खिलाफ हिंसात्मक घटनाएं हो रही हैं। शिक्षा, स्वास्थ्य सेवाओं के लिए मिशनरी संस्थाएं चाहिए, लेकिन ईसाई नहीं। यह सोच गलत है। ईसाई समाज के प्रदर्शन को सरगुजा कांग्रेस ने भी समर्थन दिया।
नवापारा चर्च से रैली निकाली
सरगुजा में क्रिश्चियन समाज ने ननों की गिरफ्तारी के विरोध में नवापारा चर्च से रैली निकाली। रैली आकाशवाणी चौक, गांधी चौक होते हुए कलेक्टोरेट चौक पहुंची, जहां राष्ट्रपति, राज्यपाल और मानव अधिकार आयोग के नाम कलेक्टर के माध्यम से ज्ञापन सौंपा गया। ऑल चर्चेस यूनाइटेड फ्रंट के बैनर तले ईसाई समाज के विभिन्न समूहों ने प्रदर्शन में हिस्सा लिया।
ईसाइयों के प्रति हिंसात्मक घटनाएं
रैली और विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व महागिरजाघर के वीकर जनरल विलियम उर्रे ने किया। पत्रकारों से चर्चा करते हुए वीकर जनरल विलियम उर्रे ने कहा कि, अल्प संख्यकों व खासकर ईसाई समाज के खिलाफ हिंसात्मक घटनाएं हो रही है। ईसाई समाज को घृणा की नजर से देखते है लेकिन जब शिक्षा, स्वास्थ्य और अन्य सेवाओं की बात आती है, तो मिशनरी संस्था चाहिए लेकिन ईसाई नहीं चाहिए। हम इस मानसिकता का विरोध करने आए है।
ईसाइयों को भी बराबरी का दर्जा मिले
विलियम उर्रे ने कहा कि यह समाज शिक्षित, शांत और सभ्य समाज है। हमें इस नजर से ना देखा जाए कि ये लोग देश बर्बाद करने वाले है। हम देश के विकास के लिए काम कर रहे है और अपनी शिक्षा के माध्यम से देश के लिए अच्छे नागरिक तैयार कर रहे है। हमारी मांग है कि ईसाइयों को भी बराबरी का दर्जा मिले।
विरोध प्रदर्शन को कांग्रेस का समर्थन
ईसाई समाज के प्रदर्शन को जिला कांग्रेस कमेटी का भी समर्थन मिला। पूर्व उपमुख्यमंत्री टीएस सिंहदेव के निर्देश पर जिला कांग्रेस कमेटी सरगुजा ने भी जिलाध्यक्ष बालकृष्ण पाठक के नेतृत्व में उन्हें समर्थन देते हुए अपना ज्ञापन प्रशासन को दिया।कांग्रेस जिलाध्यक्ष ने कहा कि संघ परिवार की विचारधारा से प्रेरित बजरंग दल जैसे संगठन धार्मिक पुलिसिंग करते हुए अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को परेशान कर रही है।